- गीत - जोबो गिरौदपुरी के मेला
- स्वर - गोरेलाल बर्मन, रतन सबिहा
- गीत - गोरेलाल बर्मन
- संगीत - गोरेलाल बर्मन
- एल्बम - हे सतनाम
- लेबल - केके कैसेट
स्थायी
चल चल न बही मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
चल चल न बईइा मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
चल चल न बही मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
चल चल न बईइा मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
सत के गंगा बहत हे गुरू दरबार म
सत के गंगा बहत हे गुरू दरबार म
अर्पण कर देतेन पापी चोला
चल चल न बईइा मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
चल चल न बही मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
अंतरा 1
जोक नंदिया म बही जेवन बनाबो हो
जेवन बनाबो
चरण कुंड के पानी म माई पिल्ला हम नहाबो हो
माई पिल्ला हम नहाबो
जोक नंदिया म बही जेवन बनाबो हो
जेवन बनाबो
चरण कुंड के पानी म माई पिल्ला हम नहाबो हो
माई पिल्ला हम नहाबो
गुरू के गाड़े बही जोड़ा जैतखंभा
गुरू के गाड़े बही जोड़ा जैतखंभा
चढ़ाबो ध्वजा नरियर भेला
चल चल न बईइा मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
चल चल न बही मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
अंतरा 2
बारा डोली जाबो जिहां नांगर चलाए
बही नांगर चलाए
गलियार बईला जेला सिरतोन रेंगाए
बईहा सिरतोन रेंगाए
बारा डोली जाबो जिहां नांगर चलाए
बही नांगर चलाए
गलियार बईला जेला सिरतोन रेंगाए
बईहा सिरतोन रेंगाए
डोंगरी भितर जाबो जिहां छाता पहाड़ म
डोंगरी भितर जाबो जिहां छाता पहाड़ म
गुरू बईठे तप करे अकेल्ला
चल चल न बईइा मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
चल चल न बही मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
अंतरा 3
जगा जगा म नाटक पंथी होथे सत के लिल्ला
बही होथे सत के लिल्ला
गुरू के अमृत कथा सुनबो माई पिल्ला
बईहा सुनबो माई पिल्ला
जगा जगा म नाटक पंथी होथे सत के लिल्ला
बही होथे सत के लिल्ला
गुरू के अमृत कथा सुनबो माई पिल्ला
बईहा सुनबो माई पिल्ला
शीश नवाबो बही गुरू दरबार म
शीश नवाबो बही गुरू दरबार म
कट जाही जिनगी के झमेंला
चल चल न बईइा मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
चल चल न बही मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
सत के गंगा बहत हे गुरू दरबार म
सत के गंगा बहत हे गुरू दरबार म
अर्पण कर देतेन पापी चोला
चल चल न बईइा मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला
चल चल न बही मोर जाबो गिरौदपुरी के मेला